Wednesday, January 15, 2014

दंगों के दर्द पर अखिलेश का 'लखटकिया' मरहम

riots victims family get 10 lac
मुजफ्फरनगर हिंसा में लापता लोगों के परिवारीजनों को राज्य सरकार दस-दस लाख रुपये की मदद देगी। साथ ही लापता लोगों के एक-एक आश्रित को नौकरी भी दी जाएगी।

खरड़ और हसनपुर इलाके के पीड़ितों के नुकसान की भरपाई भी सरकार करेगी। सपा मुखिया मुलायम सिंह के आवास पर मंगलवार को मिलने पहुंचे दंगा पीड़ितों को मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने यह भरोसा दिया।

मुलायम सिंह ने कहा कि पीड़ितों को हर संभव मदद की जाएगी। युवा कल्याण परिषद के अध्यक्ष आशु मलिक की अगुवाई में मुजफ्फरनगर-शामली जिले का 32 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल मुलायम सिंह यादव से उनके विक्रमादित्य मार्ग स्थित आवास पर मिला।

मुख्यमंत्री भी वहां मौजूद थे। प्रतिनिधिमंडल ने सरकार के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि केंद्र सरकार चाहती तो मदद कर सकती थी।

लेकिन केंद्र ने मृतकों के परिजनों को पूर्व घोषणा के मुताबिक दो-दो लाख भी यह कहकर नहीं दिए कि उनके आश्रितों को नौकरी मिल गई है।

जब प्रतिनिधिमंडल पहुंचा तो जमीयत उलमा हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी भी सपा मुखिया से मिलने के लिए आए हुए थे।

मौलाना मदनी ने कहा कि यदि सरकार दंगे के बाद से लापता लोगों को मृत मानकर उनके परिवार को दस-दस लाख रुपये की मदद और और उनके एक-एक आश्रित को नौकरी दे तो एक अच्छा संदेश जाएगा।

लापता लोगों की तादाद 20 तक हो सकती है। मुख्यमंत्री ने इस पर सकारात्मक रुख दिखाते हुए लापता लोगों के परिवारीनों को नौकरी और मुआवजे का आश्वासन दिया।

मुआवजे से वंचित रहे दो और लोगों को उन्होंने जल्द मदद करने का वादा किया।

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