
राहुल गांधी के सख्त रुख को देखकर अब दिल्ली के सभी कांग्रेस सांसदों ने अपनी सीट को आंतरिक चुनाव के जरिए उम्मीदवार चुनने की प्रणाली का हिस्सा बनने की पेशकश कर दी है।
कानून मंत्री कपिल सिब्बल और महिला एवं बाल विकास मंत्री कृष्णा तीरथ ने इससे पहले अपनी सीटें इस प्रणाली में शामिल करने पर ऐतराज जताया था, जिसके चलते दोनों सीटों को हटा लिया गया था।
दोनों नेताओं के ऐतराज के चलते संदेश यह गया कि राहुल गांधी के चुनावी मॉडल पर पार्टी बंटी नजर आ रही है। पार्टी उपाध्यक्ष के एजेंडे को लागू करने में पार्टी के वरिष्ठ नेता बाधा पहुंचा रहे हैं। खुद राहुल गांधी ने इसे गंभीरता से लिया था।
राहुल गांधी ने दिल्ली के प्रभारी महासचिव शकील अहमद को सभी सांसदों के साथ बैठक कर इस बढ़े विवाद का हल निकालने के लिए कहा था। मगर सांसद राहुल के कड़े रुख को भांप गए थे।
सोमवार को शकील अहमद ने सभी सांसदों की बैठक ली तो सब बोलने लगे कि वे अपनी सीट को इस प्रणाली में शामिल कराने के लिए तैयार हैं।
वहीं पार्टी हाईकमान ने सभी विकल्प खुले रखे हैं। जब सिब्बल और तीरथ ने अपनी सीटें शामिल करने पर ऐतराज जताया था। तब कांग्रेस महासचिव अजय माकन ने राहुल गांधी को अपनी सीट शामिल कराने की पेशकश की थी।
कानून मंत्री कपिल सिब्बल और महिला एवं बाल विकास मंत्री कृष्णा तीरथ ने इससे पहले अपनी सीटें इस प्रणाली में शामिल करने पर ऐतराज जताया था, जिसके चलते दोनों सीटों को हटा लिया गया था।
दोनों नेताओं के ऐतराज के चलते संदेश यह गया कि राहुल गांधी के चुनावी मॉडल पर पार्टी बंटी नजर आ रही है। पार्टी उपाध्यक्ष के एजेंडे को लागू करने में पार्टी के वरिष्ठ नेता बाधा पहुंचा रहे हैं। खुद राहुल गांधी ने इसे गंभीरता से लिया था।
राहुल गांधी ने दिल्ली के प्रभारी महासचिव शकील अहमद को सभी सांसदों के साथ बैठक कर इस बढ़े विवाद का हल निकालने के लिए कहा था। मगर सांसद राहुल के कड़े रुख को भांप गए थे।
सोमवार को शकील अहमद ने सभी सांसदों की बैठक ली तो सब बोलने लगे कि वे अपनी सीट को इस प्रणाली में शामिल कराने के लिए तैयार हैं।
वहीं पार्टी हाईकमान ने सभी विकल्प खुले रखे हैं। जब सिब्बल और तीरथ ने अपनी सीटें शामिल करने पर ऐतराज जताया था। तब कांग्रेस महासचिव अजय माकन ने राहुल गांधी को अपनी सीट शामिल कराने की पेशकश की थी।
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